अफगानिस्तान में मंगलवार शाम आए 6.6 तीव्रता के भूकंप के मद्देनजर पूरे क्षेत्र में खासकर उत्तर भारत में इसके तेज झटके महसूस किए गए। बता दें कि रात करीब 10.20 पर आए भूकंप से सब अपने-अपने घर से बाहर निकल गए। भूकंप का असर दिल्ली-एनसीआर, उत्तर प्रदेश, जम्मू कश्मीर, हिमाचल, पंजाब, मध्यप्रदेश और उत्तराखंड समेत पूरे उत्तर भारत में रहा। इन झटकों के बाद लोग दहशत में आ गए और अपने-अपने घरों से बाहर आ गए। हालांकि, गनीमत रही कि अब तक देश से किसी भी तरह के जानमाल के नुकसान की खबर सामने नहीं आई हैं।
भूकंप से 2 लोगों की मौत और 6 लोगों के घायल
भूकंप का ये ताजा झटका इतना जोरदार था कि जो लोग घर, दुकान, बाजार या सड़क कहीं भी थे, उन्होंने जरूर महसूस किया। फिलहाल लोग दहशत में हैं। वहीं भारत में भूकंप का सबसे ज्यादा असर जम्मू-कश्मीर, पंजाब, हरियाणा सहित दिल्ली-एनसीआर में है। वहीं बात अगर पाकिस्तान की करें तो वहां भूकंप से 2 लोगों की मौत और 6 लोगों के घायल होने की खबर देर रात तक सामने आई। भूकंप के बाद दिल्ली के शकरपुर में बिल्डिंग झुकने की कॉल दमकल विभाग को मिली। हालांकि बाद में दिल्ली के फायर डायरेक्टर अतुल गर्ग ने कहा कि शकरपुर इलाके में कोई इमारत झुकी हुई नहीं मिली। शुरूआती कॉल कुछ पड़ोसियों ने की थी बिल्डिंग में रहने वालों का कॉल की जानकारी नहीं थी।
भूकंप के पांच जोन
भारतीय मानक ब्यूरो ने देश को अलग-अलग पांच भूकंप जोन में बांटा हुआ है। BIS द्वारा पांचवें जोन में आने वाले इलाकों को सबसे ज्यादा खतरनाक और सक्रिय गया है। दरअसल इस जोन में आने वाले राज्यों में तबाही की ज्यादा आशंका रहती है। खतरनाक यानी पांचवें जोन में देश की कुल भूमि का 11% हिस्सा आता है। वहीं चौथे जोन में 18%, तीसरे और दूसरे जोन में 30% जमीन आती है। चौथे और पांचवें जोन वाले राज्यों को सबसे अधिक खतरा होता है।
कितनी तीव्रता वाले भूकंप से होती है कितनी तबाही?
0 से 1.9 की तीव्रता वाले भूकंप का पता सीज्मोग्राफ ही लगाया जा सकता है।
वहीं 2 से 2.9 की तीव्रता वाले भूकंप से हल्का कंपन पैदा होता है।
3 से 3.9 की तीव्रता के भूकंप से ऐसा लगता है मानो बगल से कोई बड़ा वाहन गुजरा हो।
4 से 4.9 की तीव्रता के भूकंप से घरों की खिड़कियां टूट सकती हैं। वहीं अगर दीवारों पर घड़ी या फ्रेम टंगा है तो गिर सकता हैं।
5 से 5.9 की तीव्रता वाले भूकंप से घर पर रखा फर्नीचर हिल सकता है।
6 से 6.9 की तीव्रता वाला भूकंप दरका सकता है इमारतों की नींव
6 से 6.9 की तीव्रता वाला भूकंप खतरनाक हो सकता है। क्योंकि इससे इमारतों की नींव दरक सकती हैं। इसके अलावा बिल्डिंग की ऊपरी मंजिलों को नुकसान पहुंच सकता है।
7 से 7.9 की तीव्रता वाले भूकंप से इमारतें ढह सकती हैं। वहीं जमीन के अंदर धंसी हुई पाइपलाइन फट सकती है।
8 से 8.9 की तीव्रता वाले भूकंप से इमारतों के अलावा बड़े-बड़े पुल भी गिर सकते हैं।
9 या उससे ज्यादा की तीव्रता वाला भूकंप जमकर तबाही मचाता है। अगर पास में समंदर हो तो तबाही भी आ सकती है।