यूपी के महोबा में पुलिस को थर्ड डिग्री टार्चर इस्तेमाल करना महंगा पड़ गया है। दरअसल पीड़ित के परिजनों ने न्याय के लिए मानवाधिकार आयोग में गुहार लगाई। जिसके बाद मानवाधिकार आयोग के नोडल अधिकारी एसपी हमीरपुर के निर्देश पर तत्कालीन इंस्पेक्टर, दरोगा, सिपाही सहित छह लोगों के खिलाफ केस दर्ज मामले में इंस्पेक्टर, दरोगा 3 सिपाहियों सहित ग्राम प्रधान पति पर मुकदमा दर्ज किया हैं।
जानकारी के मुताबिक पुलिस के थर्ड डिग्री टार्चर से युवक को कानों से सुनाई देना बंद हो गया है। इसलिए प्रधानपति हरिओम, सिपाही उपेंद्र,राजीव,रोहित, इंस्पेक्टर सुरेंद्रनाथ और अनिल कुमार के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है। पीड़ित भारत सिंह श्रीनगर के पवा गांव का निवासी है।
ऊपर गर्म चाय डालते रहे
आपको बता दें कि पीड़ित ने आरोप लगाते हुए कहा कि थाने में थानाध्यक्ष अनिल कुमार व सिपाहियों ने लाठी-ड़डें से मारपीट की। इस दौरान उसके ऊपर गर्म चाय डालते रहे साथ ही कानों में नुकीला तार डालने से कान के पर्दे फट गए। पूरे शरीर में गंभीर चोटें आई थी। लेकिन इसके बाद भी 24 घंटों तक थाने में रखा गया औक प्रताड़ना दी गईं। हालात बिगड़ने पर 3 अप्रैल को अस्पताल में भर्ती करवाया गया। जहां से डॉक्टर ने झांसी रेफर कर दिया। लेकिन पुलिस कर्मचारी झांसी न ले जाकर हैलट कानपुर ले गए। जहां मनमाने ढ़ग से इलाज कराते रहे। इसके बाद मामले की शिकायत थाने व एसपी से की गई लेकिन कार्रवाई नहीं हुई। तब मानवाधिकार आयोग व सीएम से शिकायत की गई।
चोरी के आरोप में हिरासत में लिए
मिली जानकारी के अनुसार महोबा जिले में चार माह पहले चोरी के आरोप में हिरासत में लिए गए था। ग्रामीण की बेरहमी से मारपीट करने, गर्म चाय डालकर झुलसाने और कान में नुकीले तार डाले जाने के मामले में तत्कालीन श्रीनगर थानाध्यक्ष सहित छह लोगों पर रिपोर्ट दर्ज की गई है। यह कार्रवाई मानवाधिकार हनन आयोग लखनऊ के आदेश पर हुई। हालांकि हालत बिगड़ने के मामले में तत्कालीन थानाध्यक्ष अनिल कुमार को एसपी ने घटना के दूसरे दिन ही निलंबित कर दिया था।
दरअसल थाना श्रीनगर के पवा गांव में पंचायत भवन का सबमर्सिबल पंप चोरी हो गया था। जिसके बाद ग्राम प्रधान रेखा राजपूत ने अज्ञात चोर के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई थी। इस मामले में दो अप्रैल 2022 को पुलिस ने पीड़ित को हिरासत में ले लिया।