नई दिल्ली: एल्विश यादव (Elvish Yadav) एक ऐसा नाम जो पिछले साल से लगातार ख़बरों में बना हुआ है। पहले बिग-बॉस ओटीटी 2 में अपने गुस्सैल रवैये और गाली-गलौज करने के चलते एल्विश यादव का नाम चर्चा में आया। अपनी अच्छी खासी फैन फॉलोइंग के चलते बिग-बॉस के ओटीटी-2 को जीतने में एल्विश यादव कामयाब रहा, बस यहीं से इस नाम के विवादों में आने की मानों परंपरा सी शुरु हो गई। विनाश काले विपरीत बुद्धि। कहते हैं जब किसी इंसान का समय बुरा आता है तो उसकी बुद्धि भ्रष्ट हो जाती है। ऐसा ही कुछ एल्विश के साथ भी देखने को मिला।
सक्सेस का घमंड एल्विश यादव (Elvish Yadav) पर कुछ इस तरह चढ़ा कि उन्हें अच्छे और बुरे में फर्क समझना बंद हो गया। 17 मार्च को सांपों के जहर की तस्करी के मामले में नोएडा पुलिस ने एल्विश यादव को गिरफ्तार किया। कैसे एक लड़का यूट्यूब पर वीडियो डालकर फेमस होता है। इसके बाद लगातार सफलता-सफलता मिलती रही लेकिन अपनी इसी कामयाबी के घमंड में एल्विश यादव बुरे कामों में इन्वॉल्व होता चला गया। कभी जहरीले सांपों के जहर की तस्करी के मामले में तो कभी किसी शख्स को थप्पड़ मारने तो कभी किसी यूट्यूबर को बुरी तरह पीटने के चलते एल्विश यादव का नाम बार-बार ख़बरों में आता रहा।
लेकिन वो कहते हैं न हर चीज की एक हद होती है, तो बस यहीं इस यूट्यूबर के साथ भी अब होता दिख रहा है। नोएडा पुलिस के सूत्रों के मुताबिक, एल्विश यादव (Elvish Yadav) ने स्वीकार कर लिया है कि वो पार्टी में सांपों का जहर मंगवाता था। इसके अलावा उसने ये भी माना है कि वो पुलिस की गिरफ्त में मौजूद उन सभी आरोपियों के पहले से जानता था। बीते रविवार को नोएडा पुलिस ने एल्विश यादव को पूछताछ के लिए बुलाया था। इसके बाद पुलिस ने एल्विश को गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश किया। कोर्ट ने अपना फैसला सुनाते हुए एल्विश को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया।
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इस मामले से जुड़ी अब नई अपडेट में बताया गया है कि एल्विश यादव (Elvish Yadav) ने कबूल किया है कि वो राहुल समेत सभी गिरफ्तार आरोपियों से अलग-अलग रेव पार्टियों में मिल चुका था और उनसे जान-पहचान भी थी। सांपों के जहर की तस्करी और दूसरे मामलों में नोएडा पुलिस ने एल्विश यादव पर NDPS एक्ट की धारा 29 लगाई है। NDPS एक्ट की ये धारा तब लगाई जाती है, जब कोई ड्रग से जुड़ी साजिश में शामिल हो। जैसे ड्रग की खरीद फरोख्त में। आपको ये भी बता दें, इस एक्ट में आरोपी को आसानी से जमानत नहीं मिलती है।