नई दिल्ली। प्रवर्तन निदेशालय (ED) दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को नया समन जारी किया है। दिल्ली के मुख्यमंत्री को यह समन Delhi Jal Board मामले में प्रीवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट की धारा 50 के तहत जारी किया गया हैं। लेकिन ईडी के इस समन पर भी वो जांच एजेंसी के दफ्तर नहीं जाएंगे। गौरतलब है कि दिल्ली शराब नीति मामले में रविवार को ईडी ने नौवीं बार मुख्यमंत्री को समन भेजा जिसके कुछ ही घंटों बाद दिल्ली जल बोर्ड में अवैध टेंडरिंग और अनियमितताओं से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में पार्टी संयोजक को नया समन भेज ईडी दफ्तर आकर बयान दर्ज करवाने कहा।
ED के पीछे छुप कर लड़ना चाहती हैं बीजेपी : आप
केजरीवाल को मिले 9 वें समन को लेकर आम आदमी पार्टी ने ED के नोटिस को गैरकानूनी बताया और बीजेपी पर हमला करते हुए कहा कि वो ईडी के पीछे छुपकर चुनाव लड़ना चाहती है। सुप्रीम कोर्ट द्वारा मुख्यमंत्री को मिले जमानत बीजेपी को रास नहीं आ रही।
क्या है पूरा मामला?
ज्ञात हो कि (ED)प्रवर्तन निदेशालय Delhi Jal Board के दो कॉन्ट्रैक्ट के नियमों में उल्लंघन और अनियमितताओं मामले में मुख्यमंत्री को समन किया है। आपको बताते चले कि 1998 में स्थापित दिल्ली जल बोर्ड राजधानी में पीने के पानी की सप्लाई करता है, इसके अलावा यह नई दिल्ली नगर पालिका परिषद और दिल्ली कैंट के अंतर्गत आने वाले क्षेत्रों से सीवेज को इकट्ठा कर उसे डिस्पोज करने का काम भी करता है। मामले में जुलाई 2022 में केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) में दर्ज किए गए भ्रष्टाचार मामले से ईडी को इस केस की लीड मिली थी।
मामले में AAP कनेक्शन
मामले में आरोप लगाया गया था कि Delhi Jal Board इलेक्ट्रोमैग्नेटिक फ्लो मीटर की सप्लाई, इंस्टॉलेशन, टेस्टिंग और कमीशनिंग के लिए एनकेजी इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड को कॉन्ट्रैक्ट दिया लेकिन 38 करोड़ रुपये का कॉन्ट्रैक्ट देने के दौरान इस बात पर गौर नहीं दिया गया कि वह एलिजिबिलिटी क्राइटिरिया को पूरा नहीं करती है। जिसके बाद मामले में गिरफ्तार किये व्यक्तियों से पूछताछ के दौरान इस बात का खुलाशा हुआ कि एनकेजी इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड को कॉन्ट्रैक्ट देने के बदले रिश्वत लिया गया। जिसमें कुछ नाम आम आदमी पार्टी से भी जुड़े हुए थे।