Bhopal railway station violence: भोपाल के रानी कमलापति रेलवे स्टेशन पर शनिवार रात जो हुआ, उसने कानून-व्यवस्था के साथ-साथ इंसानियत पर भी सवाल खड़े कर दिए हैं। ड्यूटी कर रहे हेड कांस्टेबल दौलत खान पर नशे में धुत युवकों ने न सिर्फ हमला किया, बल्कि उनकी वर्दी फाड़ दी और धार्मिक आधार पर गंदी टिप्पणियां करते हुए पीट-पीटकर घायल कर दिया। दौलत खान को बचाने पहुंचे अन्य जवानों को भी धमकाया गया। घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद प्रदेश की राजनीति में उबाल आ गया है। Bhopal पुलिस ने मुख्य आरोपी जितेंद्र यादव को गिरफ्तार कर लिया है जबकि दो अन्य हमलावर फरार हैं। पूरे शहर में इस नृशंस हमले की निंदा हो रही है।
क्या इस देश में धर्म का नशा इतना बढ़ गया है कि अब किसी के साथ उसकी नौकरी पर भी मारपीट की जाएगी यह हम कहा जा रहे है, जी हां यह घटना हबीबगंज रेलवे स्टेशन RKMP पर शनिवार रात 2 बजे की है जहां GRP के हेड कांस्टेबल नजर दौलत खान ने अपनी ड्यूटी के दौरान कुछ युवकों को कार में शराब पीते… pic.twitter.com/T8UFv0yBSc
— Sumit Kumar (@skphotography68) April 27, 2025
रेलवे स्टेशन पर शर्मनाक हिंसा का तांडव
शनिवार देर रात 2 बजे जीआरपी टीम रानी कमलापति स्टेशन परिसर में दुकानों और रेस्टोरेंट बंद कराने पहुंची थी। इसी दौरान कुछ युवक कार में बैठकर शराब पीते मिले। हेड कांस्टेबल दौलत खान ने जब उन्हें टोका तो बहस शुरू हो गई, जो देखते ही देखते हिंसक झड़प में बदल गई। आरोपियों ने दौलत खान को घसीटकर कार में गिराया, बेरहमी से पीटा और उनकी वर्दी फाड़ दी। इस हमले में दौलत खान गंभीर रूप से घायल हो गए।
धार्मिक आधार पर गंदी गालियां, जवानों को धमकी
दौलत खान को पिटता देख बचाव में पहुंचे हेड कांस्टेबल संदीप और कमल रघुवंशी को भी आरोपियों ने धमकाया। यहां तक कि धार्मिक पहचान को निशाना बनाते हुए अभद्र टिप्पणियां की गईं। हमलावरों ने संदीप से कहा- “तुम हिंदू हो, दूर रहो।” माहौल बिगड़ता देख तत्काल अतिरिक्त Bhopal पुलिस बल को बुलाया गया, जिसके बाद हालात काबू में आए।
मुख्य आरोपी गिरफ्तार, दो अब भी फरार
Bhopal पुलिस ने मुख्य आरोपी जितेंद्र यादव को गिरफ्तार कर लिया है और दो फरार आरोपियों की तलाश के लिए टीमें बना दी गई हैं। घायल हेड कांस्टेबल दौलत खान का अस्पताल में इलाज चल रहा है। पुलिस ने आईपीसी की कई गंभीर धाराओं में मामला दर्ज किया है।
घटना का वीडियो सामने आने के बाद शहर में आक्रोश फैल गया है। विपक्षी दलों ने प्रदेश सरकार पर कानून व्यवस्था चरमराने का आरोप लगाया है और धार्मिक विद्वेष पर सख्त कार्रवाई की मांग की है। सोशल मीडिया पर लोग इंसाफ की मांग कर रहे हैं।