Noida: नोएडा, ग्रेटर नोएडा और यमुना प्राधिकरण क्षेत्रों में बिल्डरों की मनमानी अब नहीं चलेगी। अमिताभ कांत समिति की सिफारिशों का पालन न करने वाले बिल्डरों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की तैयारी की जा रही है। प्राधिकरणों की लापरवाही और देरी के कारण हजारों खरीदारों की रजिस्ट्री अटकी हुई है, वहीं छोटे उद्यमियों को भी नई नीलामी प्रक्रिया से दिक्कतें हो सकती हैं।
सिफारिशों का पालन नहीं करने पर होगी कार्रवाई
एक अधिकारी ने बताया कि अमिताभ कांत समिति की सिफारिशों के तहत तीनों प्राधिकरण क्षेत्रों में 161 प्रोजेक्ट में से केवल 93 बिल्डरों ने ही बकाया जमा कराने पर सहमति जताई है। ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण क्षेत्र में 98 प्रोजेक्ट हैं, जिनमें से 66 बिल्डरों ने अब तक कुल 429 करोड़ रुपये जमा कर दिए हैं। अगले वर्ष तक 965 करोड़ रुपये और जमा करने की योजना है।
Noida प्राधिकरण के 57 प्रोजेक्ट में से 22 बिल्डरों ने 304.35 करोड़ रुपये जमा कर दिए हैं और अगले वर्ष तक 903.99 करोड़ रुपये जमा करने हैं। यमुना प्राधिकरण के 6 प्रोजेक्ट में से 5 बिल्डरों ने 172 करोड़ रुपये जमा किए हैं, और उन्हें अगले वर्ष तक 375.37 करोड़ रुपये जमा करने होंगे।
रजिस्ट्री की समस्या
Noida तीनों प्राधिकरण क्षेत्रों में रजिस्ट्री की प्रक्रिया में काफी देरी हो रही है। ग्रेटर नोएडा में 48,776 रजिस्ट्री होनी थीं, लेकिन अभी तक बहुत कम संख्या में खरीदारों की रजिस्ट्री हो पाई है। नोएडा में 7,763 रजिस्ट्री होनी हैं, जबकि यमुना प्राधिकरण क्षेत्र में 6,879 रजिस्ट्री होनी थीं, लेकिन अब तक केवल 3,790 खरीदारों की ही रजिस्ट्री हो सकी है। तीनों प्राधिकरण क्षेत्रों में अब तक केवल 93 बिल्डरों ने 905 करोड़ रुपये जमा किए हैं, और अगले साल तक 2,244 करोड़ रुपये जमा करने होंगे।
छोटे उद्यमियों की बढ़ेंगी समस्याएं
Noida औद्योगिक भूखंडों में 8,000 वर्ग मीटर से छोटे भूखंडों की नीलामी प्रक्रिया शुरू होने से MSME और छोटे उद्यमियों को समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। नीलामी में बोली अधिक होने के कारण छोटे उद्यमी यहां जमीन नहीं खरीद पाएंगे, जिससे व्यापार पर भी असर पड़ने की संभावना है। यमुना प्राधिकरण क्षेत्र में औद्योगीकरण जारी है और कई बड़ी कंपनियों ने निवेश के लिए जमीन का आवंटन लिया है।
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हालांकि, नए नियम लागू होने से MSME हब की योजना प्रभावित हो सकती है और छोटे उद्यमियों को कंपनियां खड़ी करने में कठिनाई हो सकती है।