कानपुर। चमनगंज का प्रेमनगर मोहल्ला अपनी घनी आबादी के लिए जाना जाता है। सकरी गलियां और घर के बाहर दुकानें इसकी पहचान हैं। सुबह से लेकर देररात तक प्रेमनगर गुलजार रहता है, लेकिन रविवार की रात यहां पर एक 6 मंजिला इमारत पर आग लग गई। चंद मिनटों के अंदर आग ने विकराल रूप धारण कर लिया। सूचना पर पहुंची दमकल की 35 से अधिक गाड़ियों ने 6 घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद आग पर कापू पाया। आग बुझी तो सामने 6 लोगों के जले शव मिले। जिसने भी नजारा देखा, उसकी रूह कांप गई। पुलिस ने शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेज अग्निकांड की जांच शुरू कर दी है।
9ः30 बजे कारखाने में आग लग गई
चमंनगंज थानाक्षेत्र स्थित प्रेमनगर में दानिश की छह मंजिला इमारत है। इसमें दानिश और उसके भाई कासिफ का ही परिवार रहता है। भूतल तल पर दानिश का मिलिट्री के जूते बनाने का कारखाना है, जबकि इसके ऊपर गोदाम है। इमारत के अन्य तलों में जूते रखे हुए थे। रविवार को कारखाना बंद था। रात करीब 9ः30 बजे कारखाने में आग लग गई। आग इतनी विकरात थी कि चंद मिनट के अंदर पूरे इलाके में फैल गई। कुछ लोगों ने छलांग लगाकर अपनी जान बचाई। आग की सूचना पर मुख्य अग्निशमन अधिकारी दीपक वार्मा दमकल की कई गाड़ियों के साथ मौके पर पहुंचे। दो सौ मीटर के दायरे को सील कर देर रात तक आग बुझाने के साथ ही बचाव अभियान शुरू किया गया एहतियातन आसपास की इमारतों को खाली कराया गया।
रात 2ः45 बजे आग पर काबू पाया जा सका
सूचना पर एडीएम राजेश सिंह के अलावा एक दर्जन से ज्यादा थाने का फोर्स मौके पर पहुंच गया। घनी बस्ती होने के चलते दमकल की गाड़ियों को अंदर लाने में दिक्कत हुई। करीब 35 गाड़ियों के साथ ही एसडीआरएफ की टीमें ने रेस्क्यू ऑपरेशन चलाया। रात 12ः15 बजे हाइड्रोलिक प्लेटफार्म लाया गया, जिससे बचाव अभियान में तेजी आई। एक बजे आग पर काबू पा लिया गया, लेकिन धुआं भरा होने से बाधा आ रही थी। इस बीच 1ः20 बजे आग फिर भड़क उठी। करीब 1ः45 बजे आग बुझाकर दमकलकर्मी अंदर पहुंचे, लेकिन पहली मंजिल पर फिर आग भड़क गई। रात 2ः45 बजे आग पर काबू पाया जा सका। इमारत में न तो आपातकालीन निकास था, न आग बुझाने के इंतजाम किए गए थे। रोड संकरी होने से दमकलकर्मियों को दिक्कतों का सामना करना पड़ा।
जले हुए शव निकाले
रात करीब तीन बजे दमकलकर्मियों ने इमारत में फंसे जूता कारोबारी दानिश, उसकी पत्नी नाजनीन और तीन बेटियां और उनको पढ़ाने आए ट्यूशन शिक्षक के जले हुए शव निकाले। इसी बीच एक बुजुर्ग को बाहर निकाला गया। मुख्य अग्निशमन अधिकारी दीपक शर्मा ने बताया कि आग पर काबू पा लिया गया है। आग क्यों लगी, इसकी जांच की जा रही है। ऐसी आशंका है कि आग शार्ट सर्किट के चलते लगी। फिलहाल 6 लोगों की आग से जलकर मौत हो गई है। जबकि परिवार के अन्य लोगों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया है। बताया जा रहा है कि ये आज शार्ट सर्किट के चलते लगी और कमरों पर रखे कैमिकल ड्रमों को अपनी चपेट में ले लिया। गैस सिलेंडर, एसी में विस्फोट हुए और पूरी एक मंजिल पूरी तरह से बर्बाद हो गई।
पांच मिनट बाद तीसरा धमाका हुआ
आग सबसे पहले पहली मंजिल में लगी और एक बाद एक तीन धमाके हुए। इसके बाद आग तीसरी मंजिल तक पहुंची तो दो तेज धमाके और हुए। पांच मिनट बाद तीसरा धमाका हुआ। आशंका जताई जा रही है कि एलपीजी सिलिंडर फटे होंगे। महज 20 मिनट के अंतराल में आग पांचवीं मंजिल तक पहुंच गई। जाजमऊ निवासी मिस्ताहुल हक इसरत इराकी ने बताया कि इमारत की तीसरी मंजिल पर उनका 45 वर्षीय भांजा दानिश, उसकी पत्नी नाजरीन, 15 साल की बेटी सारा, 12 वर्ष की सिमरा और सात वर्ष की इनाया थीं। दानिश के बुजुर्ग पिता अकील को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया था। स्थानीय लोगों ने बताया कि गलियां सकरी होने के चलते दमकल की गाड़ियां देरी से आ सकी, जिससे राहत-बचाव कार्य में विलंब हुआ।
धमाके से दहला पूरा इलाका
स्थानीय लोगों ने बताया कि कारखाने में जूते बनाने का काम होता था। 30 से ज्यादा लोग कारखाने में काम करते थे। रविवार को छुट्टी थी। ऐसे में कारखाना बंद था। स्थानीय लोगों ने बताया कि जब आग लगी, तभी धमाकों की आवाज सुनाई दी। कारखाने में कैमिकल से भरे ड्रम रखे हुए थे। आग कैमिकल से भरे ड्रमों तक पहुंची और उनमें विस्फोट हो गया। फिर क्या था आग ने चंद मिनटों के अंदर पूरी इमारत को अपने आगोश में ले लिया। स्थानीय लोगों ने बताया कि गैस सिलेंडर और एसी में भी धमाके हुए। जिसके कारण ऊपर की छत तक उड़ गई।